歌詞
मैं सोचता हूँ क्या है तू मेरा
जो भी है सच है क्या है ख्वाब सा
पहचानते हैं जानते नहीं
मिलते हैं कहने को तो रोजाना
तेरे लिए मैं तो हूँ बेगाना
खुद से कहता रहता
तू ना मेरा तू ना मेरा
तू ना मेरा तू ना मेरा
रहने दे ना
तू ना मेरा तू ना मेरा
फिर क्यूँ मिले है
मुझे हर जगह पे ऐसे तू
तू ना मेरा तू ना मेरा
तू ना मेरा तू ना मेरा
रहने दे ना
तू ना मेरा तू ना मेरा
फिर क्यूँ मिले है
मुझे हर जगह पे ऐसे तू
नींद में रहती हैं आँखें आधी आधी
होश भी रहता है थोड़ा सा
देर तक रहती हैं रातें जागी जागी
में सुबह हु जाके अब सोता
जा रहा ये दिल किधर
मुझसे होके बेखबर
मुझे सब है पता
क्या है मुझको हुआ मगर
खुद से कहता रहता
तू ना मेरा तू ना मेरा
तू ना मेरा तू ना मेरा
रहने दे ना
तू ना मेरा तू ना मेरा
फिर क्यूँ मिले है
मुझे हर जगह पे ऐसे तू
तू ना मेरा तू ना मेरा
तू ना मेरा तू ना मेरा
रहने दे ना
तू ना मेरा तू ना मेरा
फिर क्यूँ मिले है
मुझे हर जगह पे ऐसे तू
जब तू नहीं मेरा
जब तू नहीं मेरा
जब तू नहीं मेरा
फिर क्यूँ मिले है
मुझे हर जगह पे ऐसे तू
जब तू नहीं मेरा
जब तू नहीं मेरा
जब तू नहीं मेरा
फिर क्यूँ मिले है
मुझे हर जगह पे ऐसे तू
ARJUN KANUNGO, KUNAAL VERMA
Universal Music Publishing Group